बात शायद 1996 के करीब की रही होगी. उन दिनों अपनी मनपसंद कॉमिक्स की दूकान में अपनी आदत के अनुसार मैं रोज ही जाता था. एक दिन अचानक मेरे नजर बेहद ही आकर्षक
से मुखपृष्ठ यानि कवर वाले कॉमिक्स पर टिकी. कवर की मोटाई काफी ज्यादा थी और बहुत
ही उम्दा चमक से भरपूर. लेकिन सबसे बड़ा आश्चर्य था उस पर लिखी कीमत – उस समय लगभग
सभी कॉमिक्स 5 रूपये से 7 रुपये तक आ जाते
थे, किसी नए कॉमिक्स प्रकाशन का 10 रुपये से शुरू होना मुझे अचंभित भी किया और मन
में किसी बेहतरीन श्रृंखला की शुरुआत की आशा भी जागी – जो कि पढ़ने के बाद थोड़ी सी
धूमिल हो गयी (ऐसा नहीं था कि कॉमिक्स की क्वालिटी बेकार थी, परन्तु कुछ नया भी
नहीं था) और प्रकाशन ने भी अपनी कीमत के हिसाब से सामग्री न दे पाने की वजह से
जल्द ही कॉमिक्स का प्रकाशन बंद कर दिया.
दुर्गा कॉमिक्स, दुर्गा पॉकेट बुक्स का भारतीय चित्रकथाओं के बाजार में अपनी
जगह बनाने का एक संक्षिप्त प्रयास था जिसमें वे सफल न हो सके. उस समय जब कॉमिक्स
का प्रेम चरम पर था – दुर्गा कॉमिक्स अपनी जगह न बना सकी. पहले सेट में प्रकाशित
चार कॉमिक्स में उन्होनें तीन नये सुपर हीरो (फाइटर मैन, महाबली लंगूरा और
टोरा-टोरा) प्रकाशित किये, जो कि अपने नए कलेवर में आकर्षित जरूर करते थे, परन्तु
उनकी कथाओं और प्रस्तुति में वो आकर्षण नहीं था कि वे अन्य लोकप्रिय प्रकाशनों को
चुनौती दे पाते.
खैर, जहाँ तक मेरी जानकारी है – दुर्गा कॉमिक्स के अंतर्गत केवल 3 ही सेट
प्रकाशित हुए थे जिसमें प्रत्येक सेट में 4-4 चित्रकथाएं थीं. तीसरे सेट की
चित्रकथाओं में आगामी 5 अंकों के वर्णन जरूर थे, पर वे मेरी जानकारी में तो कहीं
नजर नहीं आये. तो प्रकाशित 12 और प्रस्तावित 5 के साथ कुल 17 अंकों के नामों की सूची
नीचे दी जा रही है. (परन्तु, शायद अगर इन 5 अंकों में से किसी को आपने देखा हो या
आपके पास हों तो कृपया जानकारी देकर इस पोस्ट को समृद्ध करें.
दुर्गा कॉमिक्स में मेरी जानकारी में 5 श्रृंखलाएं/ चरित्र आये थे – जिनका
संक्षिप्त परिचय मैं नीचे दे रहा हूँ –
1. फाइटर मैन –
मेरे लिए ये नागराज की कॉपी जैसा ही था. पूरे हिन्दुस्तान में राज करने का सपना देखने वाले काली दुनिया के बादशाह विक्राल को उसका साथी
वैज्ञानिक डॉक्टर डैंग एक मानव हथियार बनाकर देने की योजना बताता है जिसके लिए उसे
किसी चिम्पैंजी या जंगली मानव के बच्चे की जरूरत है. विकराल का साथी कलुआ जंगल ऐसे
किसी प्राणी की खोज में जा है और उसे मिलता है एक अद्भुत बालक जो चीते की सवारी कर
रहा होता है. यह इंसानी बच्चा चीतों के साथ पला-बढ़ा था जिससे उसका शारीर भी चीते
की तरह हो गया. कलुआ के अनुसार ऐसे बच्चे को फाइटर मैन कहते हैं (थोड़ा ज्यादा हो
गया). फिर वे उसे पकड़कर लाते हैं और डॉ. डैंग वर्षों तक प्रयोग करके उसे पृथ्वी का
सबसे ताकतवर, वज्र शरीर वाला और जहरीला इंसान बनता है जिसके हाथों से चक्र और
आँखों से तीव्र प्रकाश पुंज निकलता है. वर्षों तक चुपचाप रहा यह फाइटर मन अचानक
बगावत कर देता है और अपराधियों का दुश्मन बन जाता है. मतलब बिना किसी ट्विस्ट के
कहानी में मरोड़ ...
खैर, इस सुपर हीरो की केवल 3 ही कॉमिक्स आई थी और चौथी की सिर्फ घोषणा हुयी –
- फाइटर मैन
- फाइटर मैन का तहलका
- इच्छाधारी नागों की जंग
- फाइटर मैन की रणयात्रा (प्रकाशित नहीं हुयी, शायद)
इसके भी तीन ही कॉमिक्स प्रकाशित हुए और चौथी की सिर्फ घोषणा हुयी –
- महाबली लंगूरा
- महाबली लंगूरा और पिशाचिनी डायन
- महाबली लंगूरा और ज़हरीली
- महाबली लंगूरा और प्रलयंकारी युद्ध (प्रकाशित नहीं हुयी, शायद)
3. टोरा टोरा –
पर्वतारोहियों (संभवतः हिमालय पर्वत पर) के एक दल को दिव्य पक्षी गरूड़ की तरह
अद्भुत पंछी दिखाई
दिया जो अपने पंजे में एक बर्फीला मानव लेकर उड़ रहा था. दल के
सदस्य दिव्य पक्षी को बेहोशी के इंजेक्शन के वार से बेहोश कर देते हैं. पक्षी के
बेहोश होने पर वह बर्फीला मानव टोरा-टोरा चिल्लाते हुए भागने लगता है लेकिन वे उसे
भी बेहोश करके ले आते हैं भारतीय अनुसंधान शाला में जहाँ उसे विश्व का सबसे ताकतवर
मानव बनाया जाता है और उसके दिमाग में एक कंप्यूटर किट लगा दी जाती जय जिससे वह
गुलाम बना रहे और निर्देश का पालन करे.
और हाँ, इसमें सुपरमैन और बैटमैन सरीखे सुपर हीरो भी मेहमान भूमिका में हैं.
इसके दो ही कॉमिक्स प्रकाशित हो पाये और तीसरी सिर्फ घोषणा तक ही सीमित रह गयी
-
- टोरा टोरा और लाल शैतान
- टोरा टोरा और नीली मौत
- टोरा टोरा और जंजाजू (प्रकाशित नहीं हुयी, शायद)
4. हॉरर सीरीज - राज कॉमिक्स के थ्रिल-हॉरर-सस्पेंस की तरह
डरावनी कहानियों को समर्पित.
1. इसके भी तीन ही कॉमिक्स प्रकाशित हुए और चौथी की सिर्फ घोषणा हुयी
- खूनी जबड़ा
- शैतान आत्मा
- पागल पिशाच
- चुड़ैल (प्रकाशित नहीं हुयी)
5. प्रेस रिपोर्टर विशाल –
पत्रकारिता का कोर्स करने के बाद विशाल को ‘दैनिक
सियासत’ में नौकरी मिल गई जहाँ अपने साहस
और इमानदारी से उसने ‘सत्य की जंग’ नामक
कॉलम में अपराधियों को बेनकाब करना शुरू किया. सहीं कहें तो यही इस कॉमिक्स
प्रकाशन की सबसे अच्छी सीरीज हो सकती थी पर कॉमिक्स प्रकाशन के साथ दुर्भाग्यवश केवल
एक अंक के साथ यह सीरीज बंद हो गयी. - कानून मांगे सबूत - प्रेस रिपोर्टर विशाल
- अँधा है कानून - प्रेस रिपोर्टर विशाल (प्रकाशित नहीं हुयी, शायद)
क्रमांक |
सेट |
कॉमिक्स का नाम |
सीरीज |
आवरण |
1 |
सेट-1 |
फाइटर मैन |
फाइटर मैन |
|
2 |
महाबली लंगूरा |
महाबली लंगूरा |
||
3 |
टोरा टोरा और लाल शैतान |
टोरा टोरा |
||
4 |
खूनी जबड़ा |
हॉरर सीरीज |
||
5 |
सेट-2 |
फाइटर मैन का तहलका |
फाइटर मैन |
|
6 |
महाबली लंगूरा और पिशाचिनी डायन |
महाबली लंगूरा |
||
7 |
टोरा टोरा और नीली मौत |
टोरा टोरा |
||
8 |
शैतान आत्मा |
हॉरर सीरीज |
||
9 |
सेट-3 |
इच्छाधारी नागों की
जंग |
फाइटर मैन |
|
10 |
महाबली लंगूरा और ज़हरीली |
महाबली लंगूरा |
||
11 |
कानून मांगे सबूत |
प्रेस रिपोर्टर विशाल |
||
12 |
पागल पिशाच |
हॉरर सीरीज |
||
13 |
अप्रकाशित |
फाइटर मैन की रणयात्रा |
फाइटर मैन |
|
14 |
महाबली लंगूरा और प्रलयंकारी युद्ध |
महाबली लंगूरा |
|
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15 |
जंजाजू - टोरा टोरा |
टोरा टोरा |
|
|
16 |
अँधा है कानून |
प्रेस रिपोर्टर विशाल |
|
|
17 |
चुड़ैल |
हॉरर सीरीज |
|
धन्यवाद अनुपम भाई दुर्गा कॉमिक्स से जुड़े तथ्यों को हम तक पहुंचाने के लिए ।
ReplyDeleteअच्छा लगा ये प्रोजेक्ट दुबारा शुरू हुआ ।
शुक्रिया नागेश भाई, बहुत अच्छा लगा आपका कमेंट पढ़कर. आशा करता हूँ कि इस बार का प्रयास सफल होगा. पर इसमें आप सभी दोस्तों के सहयोग की अत्यंत आवश्यकता होगी अन्यथा इसका भी हाल पहले जैसा हो जाएगा. आप सभी का साथ रहा तो इसमें क्षेत्रीय चित्रकथाओं को भी जगह देने का सपना है. अब भविष्य ही बताएगा कि यह दूसरी पारी कितनी सफल हो पाती है .
DeleteGreat information.. Thanxs Anupam bhai.
ReplyDeleteWelcome Abhishek Bhai, Just doing my part for my passion.
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